साल में चार बार आने वाली नवरात्रियों में शारदीय नवरात्रि सबसे महत्वपूर्ण मानी जाती है, जो आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से शुरू होती है। नवरात्रि के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा की जाती है, जिन्हें तपस्या और वैराग्य की देवी के रूप में जाना जाता है। इस दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा-आराधना से भक्तों को संयम, त्याग और तप की शक्ति प्राप्त होती है। 

* मां ब्रह्मचारिणी का स्वरूप और महत्त्व

मां ब्रह्मचारिणी का स्वरूप अत्यंत सौम्य और भव्य है। वे श्वेत वस्त्र धारण करती हैं और उनके एक हाथ में अष्टदल की माला तथा दूसरे हाथ में कमंडल रहता है। इनकी पूजा करने से भक्तों को मानसिक और शारीरिक संयम प्राप्त होता है और जीवन में धैर्य और तप की भावना प्रबल होती है।

* मां ब्रह्मचारिणी की पूजा विधि – 

 

1. व्रत संकल्प: सुबह स्नान करके स्वच्छ वस्त्र धारण करें और व्रत का संकल्प लें।

 

2. पूजा सामग्री: मां की पूजा में फल, फूल, चंदन, कुमकुम, अक्षत, दीपक आदि रखें।

 

3. रंग: मां ब्रह्मचारिणी का प्रिय रंग सफेद और पीला माना जाता है, इसलिए पूजा के समय इन रंगों के वस्त्र धारण करें।

 

4. मंदिर की सफाई: पूजा करने से पहले मंदिर की सफाई करके पुराने फूल हटा दें और मां के समक्ष दीप प्रज्वलित करें।

 

5. मंत्र और आरती: मां ब्रह्मचारिणी के मंत्रों का जाप करें, आरती गाएं और मां को भोग अर्पित करें।

 

6. प्रसाद वितरण: पूजा समाप्त होने के बाद सभी को प्रसाद का वितरण करें।

 

* मां ब्रह्मचारिणी की पूजा का मंत्र – 

– दधाना करपद्माभ्याम्, अक्षमालाकमण्डलू।

देवी प्रसीदतु मयि, ब्रह्मचारिण्यनुत्तमा।।

– ॐ ऐं ह्रीं क्लीं ब्रह्मचारिण्यै नम:

– दुर्गा क्षमा शिवा धात्री स्वाहा स्वधा नमोऽस्तुते।।

* मां ब्रह्मचारिणी की आरती – 

जय अंबे ब्रह्माचारिणी माता।
जय चतुरानन प्रिय सुख दाता।
ब्रह्मा जी के मन भाती हो।
ज्ञान सभी को सिखलाती हो।
ब्रह्मा मंत्र है जाप तुम्हारा।
जिसको जपे सकल संसारा।
जय गायत्री वेद की माता।
जो मन निस दिन तुम्हें ध्याता।
कमी कोई रहने न पाए।
कोई भी दुख सहने न पाए।
उसकी विरति रहे ठिकाने।
जो ​तेरी महिमा को जाने।
रुद्राक्ष की माला ले कर।
जपे जो मंत्र श्रद्धा दे कर।
आलस छोड़ करे गुणगाना।
मां तुम उसको सुख पहुंचाना।
ब्रह्माचारिणी तेरो नाम।
पूर्ण करो सब मेरे काम।
भक्त तेरे चरणों का पुजारी।
रखना लाज मेरी महतारी।

 

नवरात्रि के दूसरे दिन ऐसे करें मां ब्रह्मचारिणी की पूजा और जरूर पढ़ें ये मंत्र –

On the second day of navratri, worship maa brahmacharini in this way and definitely read this mantra

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